आज के परिवेश में एक बहुत बड़ी समस्या उभर कर आ रही है, कि बच्चे नए नए गैजेट्स के चक्कर में अपनी पारंपरिक शिक्षा पद्धति को भूलते जा रहे है।
“आज के बच्चों में न तो सुनने का धैर्य है न ही पढ़ने की इच्छा ।”
यह समस्या आगे आने वाले समय में बहुत विकट होने वाली है।जब बच्चे पढ़ेंगे या सुनेंगे नहीं तो फिर वो क्रिएटिव भी नहीं होगे।
कुछ भी क्रिएटिव लिखने या कुछ रचनात्मक करने के लिए रीडिंग बहुत आवश्यक हैं।
तो अपने बच्चों में रीडिंग की आदत/हैबिट कैसे बनाएं,इसके लिए आप ये सब तरीको का इस्तेमाल कर सकते हैं:
- मोटिवेशन : सबसे पहले उन्हें प्रोत्साहित करे कि रीडिंग के क्या फायदे है
- ग्रंथों का अध्ययन : उन्हें अपने धार्मिक ग्रन्थ जैसे गीता का अध्ययन करवाए।इससे उन्हें जबरदस्त फायदा होगा रीडिंग हैबिट के साथ साथ आध्यात्मिक उन्नति भी होगी
- न्यूजपेपर: न्यूजपेपर पढ़ने की आदत आगे जाकर, सारी दुनिया की जानकारी के साथ साथ कांपटीटिव एग्जाम की तैयारी में भी मील का पत्थर साबित होगी
- लेबल पढ़े: कुछ भी सामान खरीद कर लाएं तो उस से रिलेटेड सारी जानकारी पढ़ें,जिससे जानकारी तो बढ़ेगी ही और जागरूकता भी आएगी क्या खाए क्या नहीं।